चीफ इंजीनियर सहित तीनों अधिकारियों को भेजा जेल
जयपुर. भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) ने सार्वजनिक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) में करौली के अधीक्षण अभियंता राजवीर सिंह जाटव के खिलाफ करीब एक वर्ष बाद भ्रष्टाचार का मामला दर्ज किया है। एसीबी ने बताया कि टोल फ्री नंबर 1064 पर 22 अक्टूबर 2022 में सूचना मिली कि करौली के अधीक्षण अभियंता (एसई) राजवीर रिश्वत के 5 से 7 लाख रुपए लेकर अपनी कार से जयपुर जा रहे हैं। एसीबी ने न्यायालय से तलाशी वारंट लेकर शिवदासपुरा टोल नाका पर स्वतंत्र गवाह को साथ लेकर अधीक्षण अभियंता के आने का इंतजार किया। 22 अक्टूबर की शाम करीब 6.05 बजे जयपुर के प्रताप नगर निवासी अधीक्षण अभियंता राजवीर सिंह की कार को रुकवाया। सर्च में उनके पास 1 लाख 56 हजार 100 रुपए मिले। इस रकम के संबंध में वह संतोषजनक जवाब नहीं दे सके।
बाजरा व तिल बेचकर रुपए लाना बताया था
एसीबी की पूछताछ में अधीक्षण अभियंता ने बताया कि धौलपुर के बसेड़ी में उनका गांव है। गांव में बाजरा व तिल की खेती हुई थी। दोनों फसल को बाजार में खुला बेचकर यह रकम लेकर आया है। खेती मजदूरों से करवाता है, लेकिन मजदूरों के नाम व मोबाइल नंबरों की जानकारी नहीं होना बताया।
जयपुर. एसीबी ने सार्वजनिक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) के गिरफ्तार चीफ इंजीनियर सुबोध कुमार मलिक, डूंगरपुर एक्सईएन जितेन्द्र कुमार जैन और बांसवाड़ा एईएन अनंत कुमार गुप्ता को गुरुवार को न्यायालय के समक्ष पेश किया। जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया। गौरतलब है कि पीडब्ल्यूडी में एक घोटाले के संबंध में एक्सईएन जितेन्द्र कुमार के खिलाफ चीफ इंजीनियर जांच कर रहे थे। जांच में चार्जशीट नहीं देने और मामले को रफा-दफा करने के बदले में एक्सईएन से एईएन अनंत कुमार के जरिए चीफ इंजीनियर 10 लाख रुपए की रिश्वत राशि खुद के घर पर ही ले रहे थे।